
नई दिल्ली. पुलवामा हमले की पहली बरसी के बाद कांग्रेस के नेता भाजपा सरकार को लगातार निशाना बना रहे हैं। शुक्रवार को कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने हमले को लेकर तीन सवाल पूछे थे, तो वहीं अब शनिवार को उन्हीं की पार्टी के एक अन्य नेता उदित राज ने विवादास्पदबयान दिया। उन्होंने कहा, ‘‘जो लोग सत्ता पाने के लिए गुजरात में नरसंहार करवा सकते हैं, वे सत्ता बनाए रखने के लिए 40 जवानों की जान का सौदा भी कर सकते हैं। इनके लिए देशभक्ति और राष्ट्रवाद जनता को भरमाने का एक टूल भर है।’’
उदित राज ने ट्वीट में आगे कहा, ‘‘राहुल गांधी जी ने सही सवाल उठाया कि पुलवामा हमले के जांच का नतीजा अभी तक नही आया। जब गृह मंत्रालय को खबर मिल गई थी कि सीआरपीएफ को रोड से नहीं, बल्कि एयर से ले जाना चाहिए तो इजाजत नहीं दीअर्थात राजनैतिक लाभ के लिए यह घटना होने दिया।’’
जो लोग सत्ता पाने के लिये गुजरात में नरसंहार करवा सकते हैं, वो सत्ता बनाये रखने के लिये 40 जवानों की जान का सौदा भी कर सकते हैं।
— Dr. Udit Raj (@Dr_Uditraj) February 15, 2020
इनके लिये देशभक्ति और राष्ट्रवाद जनता को भरमाने का एक टूल भर है।
राहुल गांधी जी ने सही सवाल उठाया की पुलवामा हमले के जांच का नतीजा अभी तक नही आया जब गृहमंत्रालय को खबर मिल गयी थी कि CRPF को रोड से नहीं बल्कि एयर से ले जाना चाहिए तो इजाजत नहीं दिया अर्थात राजनैतिक लाभ के लिए यह घटना होने दिया।
— Dr. Udit Raj (@Dr_Uditraj) February 14, 2020
.@INCIndia
‘राष्ट्रवाद का प्रचार करने वाले लोग अक्सर उच्च जाति के होते हैं’
उन्होंने आगे लिखा, ‘‘सोशल मीडिया पर राष्ट्रवाद का प्रचार करने वाले लोग अक्सर उच्च जाति के होते हैं और जिन सैनिकों ने मुख्य रूप से हमले में अपनी जान गंवाई वे एससी/एसटी/ओबीसी समुदायों से आते हैं। हाशिए पर खड़े समुदायों को सत्ताधारी सवर्णों की देशभक्ति की कीमत चुकानी पड़ती है।’’
सोशल मीडिया पर राष्ट्रवाद का प्रचार करने वाले लोग अक्सर उच्च जाति के होते हैं और जिन सैनिकों ने मुख्य रूप से हमले में अपनी जान गंवाई वे SC/ST/OBC समुदायों से आते हैं.
— Dr. Udit Raj (@Dr_Uditraj) February 15, 2020
हाशिए पर खड़े समुदायों को सत्ताधारी सवर्णों की देशभक्ति की कीमत चुकानी पड़ती है.https://t.co/qaYWuLSc7K
राहुल ने पूछा- हमले के बाद हुई जांच का परिणाम क्या निकला
इससे पहले राहुल ने हमले को लेकर तीन सवाल पूछे थे। पहला, इस हमले से सबसे ज्यादा किसे फायदा मिला? दूसरा, हमले के बाद हुई जांच का परिणाम क्या निकला और तीसरा, भाजपा सरकार ने इस हमले को लेकर हुई चूक के लिए किसे जिम्मेदार ठहराई है?
Today as we remember our 40 CRPF martyrs in the #PulwamaAttack , let us ask:
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) February 14, 2020
1. Who benefitted the most from the attack?
2. What is the outcome of the inquiry into the attack?
3. Who in the BJP Govt has yet been held accountable for the security lapses that allowed the attack? pic.twitter.com/KZLbdOkLK5
हमले के बाद भारत ने बालाकोट स्ट्राइक में 200-300 आतंकी मार गिराए थे
14 फरवरी 2019 को जम्मू-श्रीनगर हाईवे पर हुए हमले में 40 सीआरपीएफ जवानों की जान गई थी। जांच में यह सामने आया था कि इस हमले के तार पाकिस्तान से जुड़े थे। इसके बाद 26 फरवरी 2019 को भारतीय वायु सेना के बारह मिराज 2000 जेट्स ने नियंत्रण रेखा पार की और बालाकोट में जैश-ए-मोहम्मद संचालित आतंकवादी शिविर पर हमला किया। सरकार के मुताबिक, इसमें 200-300 आतंकवादी मारे गए।
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